Sambasadasiva Aksharamala Stotram in Sanskrit:
॥ श्री साम्बसदाशिव अक्षरमाला स्तोत्रम् ॥
साम्ब सदाशिव साम्ब सदाशिव
साम्ब सदाशिव साम्ब शिव ॥
अद्भुतविग्रह अमराधीश्वर
अगणित गुणगण अमृत शिव ॥
आनन्दामृत आश्रितरक्षक
आत्मानन्द महेश शिव ॥
इन्दुकलाधर इन्द्रादिप्रिय
सुन्दररूप सुरेश शिव ॥
ईश सुरेश महेश जनप्रिय
केशवसेवित कीर्ति शिव ॥
उरगादिप्रिय उरगविभूषण
नरकविनाश नटेश शिव ॥
ऊर्जितदान वनाश परात्पर
आर्जितपापविनाश शिव ॥
ऋग्वेदशृति मौलि विभूषण
रविचन्द्राग्नित्रिनेत्र शिव ॥
ॠपनामादि प्रपञ्चविलक्षण
तापनिवारण तत्त्व शिव ॥
ऌल्लिस्वरूप सहस्रकरोत्तम
वागीश्वर वरदेश शिव ॥
ॡताधीश्वर रूपप्रिय हर
वेदान्तप्रिय वेद्य शिव ॥
एकानेक स्वरूप सदाशिव
भोगादिप्रिय पूर्ण शिव ॥
ऐश्वर्याश्रय चिन्मय चिद्घन
सच्चिदानन्द सुरेश शिव ॥
ओङ्कारप्रिय उरगविभूषण
ह्रीङ्कारप्रिय ईश शिव ॥
औरसलालित अन्तकनाशन
गौरिसमेत गिरीश शिव ॥
अम्बरवास चिदम्बरनायक
तुम्बुरुनारदसेव्य शिव ॥
आहारप्रिय अष्टदिगीश्वर
योगिहृदिप्रियवास शिव ॥
कमलापूजित कैलासप्रिय
करुणासागर काशि शिव ॥
खड्गशूलमृगटङ्कधनुर्धर
विक्रमरूप विश्वेश शिव ॥
गङ्गा गिरिसुतवल्लभ शङ्कर
गणहित सर्वजनेश शिव ॥
घातकभञ्जन पातकनाशन
दीनजनप्रिय दीप्ति शिव ॥
ङान्तस्वरूपानन्द जनाश्रय
वेदस्वरूप वेद्य शिव ॥
चण्डविनाशन सकलजनप्रिय
मण्डलाधीश महेश शिव ॥
छत्रकिरीटसुकुण्डलशोभित
पुत्रप्रिय भुवनेश शिव ॥
जन्मजरामृत्यादिविनाशन
कल्मषरहित काशि शिव ॥
झङ्कारप्रिय भृङ्गिरिटिप्रिय
ओङ्कारेश विश्वेश शिव ॥
ज्ञानाऽज्ञानविनाशन निर्मल
दीनजनप्रिय दीप्ति शिव ॥
टङ्कस्वरूप सहस्रकरोत्तम
वागीश्वर वरदेश शिव ॥
ठक्काद्यायुध सेवित सुरगण
लावण्यामृतलसित शिव ॥
डम्भविनाशन डिण्डिमभूषण
अम्बरवास चिदेश शिव ॥
ढण्ढण्डमरुक धरणीनिश्चल
ढुण्ढिविनायकसेव्य शिव ॥
णाणामणिगणभूषण निर्गुण
नतजनपूतसनाथ शिव ॥
तत्त्वमस्यादिवाक्यार्थस्वरूप
नित्यस्वरूपनिजेश शिव ॥
स्थावरजङ्गम भुवनविलक्षण
तापनिवारणतत्त्व शिव ॥
दम्भविनाशनदलितमनोभव
चन्दनलेपितचरण शिव ॥
धरणीधर शुभधवलविभासित
धनदादिप्रियदान शिव ॥
नलिनविलोचन नटनमनोहर
अलिकुलभूषण अमृत शिव ॥
पन्नगभूषण पार्वतिनायक
परमानन्द परेश शिव – हर – शाम्ब
फालविलोचन भानुकोटिप्रभ
हालाहलधर अमृत शिव ॥
बन्धविमोचन बृहतीपावन
स्कन्दादिप्रिय कनक शिव ॥
भस्मविलेपन भवभयमोचन
विस्मयरूप विश्वेश शिव ॥
मन्मथनाशन मथुरनायक
मन्दरपर्वतवास शिव ॥
यतिजनहृदयाधिनिवास
विधिविष्ण्वादिसुरेश शिव ॥
रामेश्वरपुररमणमुखाम्बुज
सोमेश्वर सुकृतेश शिव ॥
लङ्काधीश्वर सुरगणसेवित
लावण्यामृतलसित शिव ॥
वरदाऽभयकर वासुकिभूषण
वनमालादिविभूष शिव ॥
शान्तिस्वरूपाऽतिप्रिय सुन्दर
वागीश्वर वरदेश शिव ॥
षण्मुखजनक सुरेन्द्र मुनिप्रिय
षाड्गुण्यादिसमेत शिव ॥
संसारार्णवनाशन शाश्वत
साधुजनप्रियवास शिव ॥
हर पुरुषोत्तम अद्वैतामृत
मुररिपुसेव्य मृडेश शिव ॥
लालितभक्तजनेश निजेश्वर
कालिनटेश्वर काम शिव ॥
क्षररूपादिप्रियान्वित साक्षात्
स्वामिन्नम्बासमेत शिव ॥
साम्ब सदाशिव साम्ब सदाशिव
साम्ब सदाशिव साम्ब शिव ॥
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